कोरोना वायरस की महामारी का सबसे बुरा प्रकोप झेल रहे अमेरिका के राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दावा किया कि देश साल के अंत कर कोरोना वायरस की वैक्सीन ढूंढ लेगा। ये जानकारी एएफपी न्यूज एजेंसी ने दी है।हाल ही में अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पोम्पिओ ने दावा किया था कि कोरोना वायरस की उत्पत्ति चीन के वुहान स्थित लैब से होने के उनके पास पुख्ता सबूत है। चीन के खिलाफ मुखर रहे पोम्पियो ने हालांकि यह नहीं बताया कि क्या चीन ने इस वायरस को जान बुझकर फैलाया है। अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप चीन पर कोरोना वायरस को लेकर सबसे ज्यादा आक्रामक रहे हैं। वह लगातार बीजिंग पर हमला करते हुए उसपर सूचना छुपाने का दोष मढ़ते रहे हैं। उनका कहना है कि इस गैरजिम्मेदारी के लिए चीन को जवाबदेही लेनी चाहिए।
सूत्रों के मुताबिक, ट्रंप ने अपने जासूसों से कहा है कि इस वायरस की उत्पत्ति का पता लगाएं। पहले यह माना जाता था कि यह वायरस वुहान के उस बाजार से निकला है जहां पर चमगादड़ जैसे जानवर बेचे जाते हैं। लेकिन अब बड़े पैमाने पर यह आशंका जताई जा रही है कि यह वायरस चीन के लैब से ही आया है। पोम्पिओ ने अमेरिकी खुफिया विभाग के उस बयान पर भी सहमति जताई, जिसमें मोटे तौर पर कहा जा रहा है कि कोविड-19 वायरस मनुष्य द्वारा निर्मित नहीं है या इसे अनुवांशिक रूप से विकसित नहीं किया गया है।
भारत की बात करें तो देश में बीते 24 घंटों के दौरान रिकॉर्ड 83 मौतें दर्ज की गईं। इस बीच, संक्रमण के 2487 नये मामले भी सामने आए, जिससे देश में संक्रमितों की संख्या 40 हजार पार कर गई। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय की ओर से रविवार शाम को जारी आंकड़ों के मुताबिक, देश में संक्रमितों की संख्या 40,263 पहुंच गई है। मरने वालों की संख्या 1306 हो गई है। स्वस्थ होने वालों की संख्या भी बढ़ी है। अब तक कुल 10,887 लोग स्वस्थ हो चुके हैं। स्वस्थ होने वालों का प्रतिशत 26 फीसदी से भी अधिक है। कुल 28,070 रोगियों का देश के विभिन्न अस्पतालों में इलाज चल रहा है। महाराष्ट्र, गुजरात, मध्य प्रदेश और दिल्ली संक्रमण से सर्वाधिक प्रभावित राज्य हैं।
इधर प्रवासी मजदूरों और छात्रों की अपने घरों तक वापसी भी परेशानी का कारण है क्योंकि उन पर अगले दो हफ्ते तक कड़ी नजर रखनी होगी। साथ ही, उनको क्वॉरंटाइन करने से लेकर रोजगार तक की व्यवस्था भी देखनी होगी। उत्तर प्रदेश सरकार ने तो इस बारे में कई कदम उठाए भी हैं, लेकिन अन्य राज्यों से अभी पूरी रिपोर्ट नहीं मिली है। रेड जोन वाले क्षेत्रों में अभी काफी समय तक सख्त प्रतिबंध लागू रहेंगे। तीसरा चरण खत्म होगा तब भी वहां पर सख्ती के साथ नियमों पर का कड़ाई से पालन कराया जाएगा।
विकास कुमार सिंह.