प्रसिद्ध रचनाकार,मैथिली, हिन्दी,संस्कृत के प्रकाण्ड विद्वान, मैथिली पुत्र कविश्रेष्ठ प्रदीप जी का निधन मिथिलांचल के लिये अपूर्णीय क्षति है जिसकी भरपाई नहीं की जा सकती है
मैथिली, संस्कृत, और हिन्दी साहित्य के क्षितिज पर उद्दयमान सूर्य का आज अस्त हो गया।
अपनी विशिष्ट रचना और योगदान के लिये इनको दर्जनों अलंकार से अलंकृत किया जा चुका है, यथा- मिथिला विभूति, मिथिला शिरोमणि, मिथिला के महानायक, मिथिला रत्न, मिथिला गौरव,मिथिला के युगपुरुष, सरस्वती पुत्र, मिथिला पुत्र, संस्कृत शिरोमणि, विशिष्ट रचनाकार,जैसे अनेकों सम्मान से इन्हें सम्मानित किया गया था।
इनके द्वारा रचित दर्जनों रचना सहित 37 भिन्न- भिन्न पुस्तकों का प्रकाशन हो चुका है साथ हीं दर्जनों पुस्तक लिपिवद्ध है।
इनके प्रमुख रचनाओं में:- (1) सीता अवतरण, सम्पूर्ण महाकाव्य, (2)एक घाट-तीन वाट,(3)नामपट्ट उपन्यास,(4) भगवत गीता का मैथिली अनुवाद (5)दुर्गा शप्तशती का मैथिली अनुवाद, (6) स्वंग प्रभा कथाकाव्य, (7) श्री राम हृदय काव्य, सहित अनेकों कालजयी रचना :— जगदम्ब अहि अबलम्ब हमर, पहिर लाल साड़ी उपारे खेसारी, बाबा बैद्यक् नाथ कहाबे जैसे दर्जनों रचना जो अमर है,बच्चे- बच्चे के जवान पर उनकी रचना युग-युग तक विद्यमान रहेगा
समाज के सभी वर्गों और विद्वानों के बीच इनका विशिष्ट स्थान रहने के बावजूद बिहार की सरकार या फिर केंद्र की सरकार द्वारा इनके विशिष्टता को नहीं स्थापित करना अत्यंत ही दुर्भाग्यपूर्ण है,कोई भी पुरस्कार जो साहित्य के क्षेत्र में योगदान के लिये या विशिष्ट रचना के लिये सरकार की और से प्रदान की जाती है वह इन्हें नहीं दिया जाना मिथिलांचल के करोड़ो लोगों को आहत करने जैसा है।
वैसे तो इनका जन्म दरभंगा जिला के तारडीह प्रखंड के कैथवार गाँव में 30/04/1936 को एक साधारण परिवार में हुआ था,परन्तु इनके परिवार के और इनसे आत्मीय सम्बन्ध रखने वाले लोगों द्वारा इनका जन्मोत्सव फागुन कृष्ण पँचमी को मनाया जाता रहा है। बहुमुखी प्रतिभा के धनी, मैथिली, संस्कृत, और हिन्दी के प्रकाण्ड विद्वान मैथिली पुत्र प्रदीप पेशे से शिक्षक थे,इनके सानिध्य में शिक्षा ग्रहण करने वाले दर्जनों छात्र आज देश के भिन्न- भिन्न क्षेत्र में उत्कृष्ट पद पर कार्यरत हैं।
इनके निधन की खबर से सम्पूर्ण मिथिलांचल मर्माहत है,इनके निधन का खबर सुनते ही लहेरियासराय स्थित इनके निवास पर श्रद्वासुमन अर्पित करने दरभंगा नगर के विधायक संजय सरावगी,हायाघाट विधायक विधायक अमरनाथ गामी,विधान पार्षद डा अर्जुन सहनी,विद्यापति सेवा संस्थान के महासचिव वैद्यनाथ चौधरी बैजू जी,उदय शंकर मिश्र,जीव कान्त झा,भाजपा के पूर्व जिला महामंत्री अनिल कुमार झा,आदित्य नारायण मन्ना,मुकुन्द चौधरी,भाजपा की प्रदेश मंत्री ड़ा धर्मशीला गुप्ता,सिंडिकेट सदस्य मीना झा,सुबोध चौधरी,वार्ड पार्षद परशुराम गुप्ता ,संतोष पोद्दार सहित दर्जनों लोग उपस्थित हुये।
मोहन चन्द्रवंशी, संवाददाता, दरभंगा