बिहार प्रदेश कांग्रेस कमेटी प्रदेश के निर्देश पर प्रदेश वापस लौट रहे प्रवासी श्रमिकों के मौत के मुद्दे पर जिला स्तर पर जिला कमेटी के द्वारा आज सांकेतिक धरना दिया गया। इस मुद्दे को लेकर बिहार प्रदेश कांग्रेस कमेटी चरणबद्ध तरीके से आंदोलन चला रही है जिसके प्रथम चरण में गत 28 मई को प्रदेश मुख्यालय में प्रदेश अध्यक्ष ड़ा मदन मोहन झा के नेतृत्व में धरना दिया गया था। इस संदर्भ में बिहार प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा के द्वारा दिए गए निर्देश के आलोक में बिहार के लगभग सभी जिलों के कमेटियों ने अपने-अपने जिला मुख्यालयों के समीप सांकेतिक धरना का आयोजन किया। सभी धरनास्थल पर बड़ी संख्या में कांग्रेसी कार्यकर्ताओं ने भागीदारी दिखायी। इस दौरान सभी जिलों में आयोजित धरना कार्यक्रम में सोशल डिस्टेंस के नियमों का पालन किया गया। राजधानी पटना में पटना महानगर कांग्रेस के द्वारा जिला मुख्यालय कांग्रेस मैदान, कदमकुआं में सांकेतिक धरना का आयोजन किया गया। जिसमें प्रदेश अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा, प्रदेश प्रवक्ता राजेश राठौड, रिसर्च विभाग के अध्यक्ष आनंद माधव भी शामिल हुए। इस दौरान बिहार प्रदेश कांग्रेस के अध्यक्ष डॉ मदन मोहन झा ने कहा कि प्रवासी श्रमिकों के मौत के जिम्मेदार राज्य सरकार एवं केंद्र सरकार को बिहार कि जनता माफ नहीं करने वाली हैं। सड़क पर मौत का शिकार हुए हर एक प्रवासी श्रमिक के लिए कांग्रेस नीतीश सरकार से जवाब मांगती है। उन्होंने कहा कि आसन्न विधानसभा चुनाव में बिहार की महान जनता नीतीश सरकार के इस घोर निंदनीय कृत्य का करारा जवाब देगी। इस आशय की जानकारी देते हुए प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता राजेश राठौड़ ने बताया की राज्यव्यापी संघर्ष के तहत द्वितीय चरण में आज 2 जून को बिहार प्रदेश कांग्रेस के सभी जिलाध्यक्षों द्वारा अपने-अपने जिला मुख्यालय में सोशल डिस्टेंसिंग का ध्यान रखते हुए सांकेतिक धरना का आयोजन किया गया । प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता राजेश राठौड़ ने बताया की इस दौरान धरनार्थियों द्वारा सभी जिलों में जिलाधिकारियों को एक मांग पत्र सौंपा गया। उन्होंने बताया कि प्रवासी श्रमिकों के प्रदेश वापस लौटने के क्रम में हुए मौतों के सीधे जिम्मेदारी केंद्र सरकार तथा राज्य सरकार की बनती है।
प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता राजेश राठौड़ ने बताया कि इस मौके पर प्रदेश अध्यक्ष डा. मदन मोहन झा ने कहा कि केंद्र तथा राज्य सरकार द्वारा लिए गए अनुचित निर्णय के चलते बड़ी संख्या में प्रवासी श्रमिकों को अपनी जान गंवानी पड़ी। इसके अलावा लाखों की संख्या में प्रवासी श्रमिकों को असहनीय पीड़ा सहना पड़ा। इसकी जिम्मेदारी राज्य सरकार पर भी जाती है। डा. झा ने कहा कि प्रवासी श्रमिकों के मुद्दे पर कांग्रेस पार्टी अब रुकने वाली नहीं है।राज्यव्यापी संघर्ष करके राज्य की जनता को यह बताया जाएगा कि केंद्र तथा राज्य की सत्ता में बैठी पार्टियां किस कदर जनता का शोषण कर रही है। उन्होंने कहा कि प्रवासी श्रमिकों के राज्यव्यापी वापसी के क्रम में सड़कों पर मौतें हो गई मगर केंद्र तथा बिहार की गद्दी पर बैठी स्वार्थी राजनीतिक ताकतें मौन रह गई।उन्होंने प्रश्न किया कि नरेंद्र मोदी तथा नीतीश कुमार बताएं कि प्रवासी श्रमिकों के जान की कोई कीमत नहीं थी क्या? उन्होंने कहा कि जिनके वोटों के बल पर आज ये मुख्यमंत्री तथा प्रधानमंत्री बने हुए हैं आज उन्हीं के जीवन को कीड़े-मकोड़े के समान समझ रहे हैं.
इस अवसर पर संजय श्रीवास्तव, पप्पू त्रिवेदी, राजेन्द्र चौधरी, प्रमोद सिन्हा, ध्रुव नारायण सिंह, अशोक यादव, लल्लू शर्मा, सुजीत कुमार सिन्हा, दीपक शर्मा, मधुसुदन शर्मा, किशोर शर्मा, हेमंत चतुर्वेदी इत्यादि उपस्थित थे।
शैलेश तिवारी.