देश में घरों तक प्याज सस्ते दामों में पहुंचे, इसके लिए सरकार ने अहम निर्णय लिया है। प्याज की बढ़ती कीमतों को लेकर उपभोक्ता मामलों की सचिव लीना नंदन ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर बताया कि प्याज की कीमतों पर अंकुश लगाने के लिए सरकार ने कारोबारियों के लिए भंडारण सीमा तय की है। सरकार ने प्याज के होलसेल व्यापारियों के लिये 25 मिट्रिक टन और रिटेलर के लिए 2 मिट्रिक टन भंडार की सीमा तय की है। यानी होलसेल व्यापारी 25 हजार किलो और रिटेल व्यवसायी 2 हजार किलो प्याज रख सकेंगे। यह फैसला 23 अक्टूबर 2020 यानी आज से ही लागू कर दिया गया है।
सचिव लीना नंदन ने कहा कि प्याज को लेकर निर्णायक फैसले लेना जरूरी है। सरकार प्याज का आयात उन देशों से करेगा, जहां प्याज का उत्पादन होता है। सरकार की ओर से स्टॉक लिमिट लगाया गया है। उन्होंने कहा कि प्याज की बढ़ती कीमत चिंताजनक है। लीना ने चिंता जताई कि बारिश के चलते 6 लाख मीट्रिक टन प्याज का उत्पादन प्रभावित हुआ है। राज्यों से इसकी जानकारी मिली है। उन्होंने कहा कि 1 लाख मीट्रिक टन प्याज का बफर स्टॉक बनाया गया है, जिससे प्याज की कमी न रहे और कीमतें भी स्थिर रहें।
देश के कई राज्यों में प्याज का दाम 80 से 100 रुपए किलो तक पहुंच गया है। घरों तक इतना महंगा प्याज पहुंचने पर लोगों की चिंता लाजिमी है। हालांकि दो महीने पहले तक प्याज 20 से 30 रुपए किलो तक मिल रहा था। भारत ने महीनेभर पहले प्याज के निर्यात पर रोक लगा दी थी।
निखिल दुबे.