जम्मू-कश्मीर के इतिहास के सबसे बड़े जमीन घोटाले में एक बड़ा खुलासा सामने आया है। 25 हजार करोड़ के इस जमीन घोटाले में कई पार्टी के नेताओं के शामिल होने की खबर भी सुनने को मिल रही है। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार जम्मू-कश्मीर में सरकारी जमीनों पर धड़ल्ले से कब्जा करने वाले नेताओं और साथ ही नौकरशाहों की लिस्ट न्यूज़ चैनल आजतक के पास मौजूद है।
चौंका देने वाली बात यह है कि इस घोटाले में पीडीपी नेता और जम्मू-कश्मीर के पूर्व वित्त मंत्री हसीब दरबो के भी नाम शामिल होने की पुष्टि मिल गई है इसके अलावा उनकी रिश्तेदार शहजादा बानो, एजाज हुसैन और इफ्तिकार दरबो के नाम भी सामने आए हैं। इसके अलावा कांग्रेस नेता केके अमला पर भी इस घोटाले में शामिल होने की पुष्टि हुई हैं। खबरों की मानें तो अब इन सभी से वह जमीन वापस ली जाएगी।
दूसरी ओर कांग्रेस नेता केके अमला की रिश्तेदार रचना अमला, वीणा अमला और फकीर चंद अमला के नाम भी इस लिस्ट में शामिल हैं। इसके अलावा मुस्ताक अहमद चाया, मोहम्मद सफी पंडिट, मिस निघत पंडित, सैयद मुजफ्फर आगा, सैयद अखनून, एमवाई खान, अब्दुल मजीन वाणी, असलम गोनी, हरून चौधरी, सुज्जैद किचलू, तनवीर किचलू और कुछ अन्य लोग भी शामिल हैं।
आपकी जानकारी के लिए बता दें कि 1999 के पहले जो सरकारी जमीन थी उसे गरीब तमगे के लोगों को विधिपूर्वक जमीन उपलब्ध कराने के लिए रोशनी एक्ट बनाया गया था और इसका दूसरा उपयोग पॉवर प्रोजेक्ट के लिए पैसा इकट्ठा करना था ताकि उसे जम्मू-कश्मीर के पॉवर प्रोजेक्ट में लगाया जा सके। जान लें कि 2001 में इसे बनाया गया था लेकिन इसमें समय-समय पर संशोधन किया जाता रहा है। गौरतलब है कि समय-समय पर राज्य में सरकारें बदलती रहीं और लगातार राजनेताओं को फायदा उठाने का मौका दिया भी जाता रहा।
बताते चलें कि इस घोटाले में कई बिजनेसमैन और अफसरशाहों के नाम भी सामने आए हैं। राज्य के एलजी मनोज सिन्हा ने तो यह साफ-साफ कह दिया था कि सभी से जमीन वापस ले ली जाएगी। यही वजह है कि अब यह कदम उठाए जा रहे हैं और इन लोगों ने सरकारी जमीन को अपने नाम तो किया ही व साथ ही साथ अपने रिश्तेदारों को भी दिलवा दिया। अब हाई कोर्ट के आदेश के बाद इन लोगों से जमीन वापस ले ली जाएगी। उम्मीद तो यही जतायी जा रही है राज्य में होने वाले डीडीसी चुनावों के दौरान यह एक बड़ा मुद्दा बन सकता है।
प्रिया सिन्हा की रिपोर्ट.