जितेन्द्र कुमार सिन्हा, पटना, 15 जुलाई ::प्रांतीय तथा राष्ट्रीय स्तर पर राजनीति समेत विभिन्न क्षेत्रों में कायस्थों के हितों को नजर अंदाज और उपेक्षित किए जाने के विरोध में ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेंस (जीकेसी) अब अपनी आवाज बुलंद करेगा और बिहार समेत देश के विभिन्न राज्यों में सम्मेलन, बैठक, सेमिनार – वेबिनार , विरोध प्रदर्शन आदि के जरिए सकारात्मक तथा रचनात्मक संघर्ष करेगा | इस आशय का निर्णय जीकेसी के प्रमंडल प्रभारियों की पहली वर्चुअल मीटिंग में लिया गया। बैठक में प्रदेश भर में कायस्थों के सामाजिक आर्थिक, शैक्षणिक तथा सांस्कृतिक प्रगति के लिए राज्यव्यापी अभियान चलाये जाने और संगठन को जिला, शहर से लेकर पंचायत स्तर तक मजबूत कर राजनीति में भी अपनी मजबूत भागीदारी सुनिश्चित करने पर जोर दिया गया। इस दौरान सभी जिलों में सम्मेलन कराने का भी निर्णय लिया गया ।जीकेसी के ग्लोबल अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद की अध्यक्षता में बिहार के प्रमंडल प्रभारियों की पहली वर्चुअल मीटिंग संपन्न हुयी। बैठक का संचालन बिहार आईटी प्रकोष्ठ बिहार के अध्यक्ष आशुतोष ब्रजेश ने किया।उक्त अवसर पर जीकेसी बिहार- झारखंड के प्रभारी दीपक कुमार अभिषेक, महामंत्री संजय कुमार सिन्हा, बिहार-झारंखंड के सह प्रभारी प्रेम कुमार और अनुराग समरूप, जीकेसी बिहार की प्रदेश अध्यक्ष और पटना की प्रभारी डॉ नम्रता आनंद , सारण के प्रभारी संजय कुमार सिन्हा, मगध के प्रभारी कमल किशोर, भागलपुर की प्रभारी श्रीमती रूबी दास, दरभंगा के प्रभारी नवीन कुमार, कोसी के प्रभारी संतोष लाल दास और पूर्णिया के प्रभारी काजल मित्रा मौजूद थे, जिन्होंने राजीव रंजन प्रसाद के नेतृत्व में कायस्थ समाज केसर्वांगीण विकास और उत्थान के लिये उनकी हर संभव सहायता देने का संकल्प लिया।जीकेसी के राष्ट्रीय प्रवक्ता ने बताया कि बैठक में जीकेसी की बिहार ईकाई की ओर से सामाजिक और आर्थिक विकास के लिए बनाये गये रोड मैप को प्रभावी ढ़ंग से क्रियान्वित किये जाने को लेकर विचार-विमर्श किया गया। अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद ने कहा बिहार में सभी 38 जिलों में कमिटी गठित कर दी गयी है और वहां वहां जिला तथा प्रखंड स्तर पर कमेटियां गठित की जा रही हैं। उन्होंने कहा कि हम सभी को मिलकर जीकेसी की सभी इकाई को विस्तार करने की जरूरत है।नई दिल्ली के तालकटोरा स्टेडियम में आगामी 19 दिसंबर को आयोजित होने वाले विश्व कायस्थ महासम्मेलन की तैयारी के लिये रोडमैप तैयार है और सभी राज्यों को विशेष रुप से तैयारी करने का निर्देश दिया गया है। उन्होंने कहा कि हम सभी को मिलकर जीकेसी बिहार की इकाई को विस्तार करने की जरूरत है।संगठन को आगे बढ़ाने के लिए सोच और विचारधारा को जमीनी स्तर पर क्रियान्वित करने की जरूरत है।उन्होंने बताया कि जीकेसी की स्थापना का महत्वपूर्ण उद्देश्य सम्पूर्ण कायस्थ समाज को संगठित, उन्नत एवं सशक्त करना है। कायस्थ समाज के लोगों को एक दूसरे से समन्वय स्थापित करने की जरूरत है, जिससे उनका सर्वांगीण विकास हो सके।