जितेन्द्र कुमार सिन्हा, पटना ::समाजसेवा, सहयोग, संप्रेषण, सरलता, समन्वय, सकारात्मकता और संवेदनशीलता को लेकर चलने वाली जीकेसी (ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेन्स) संस्थान का नेतृत्व ग्लोबल अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद कर रहे हैं। राजीव रंजन प्रसाद का कहना है कि मैंने देश दुनियाँ को यह दिखाने और समझाने का प्रयास कर रहा हूँ कि हम कायस्थ समाज एक हैं और हमारी एकता ही हमारी बल है। हम कामयाब थे, हैं और रहेंगें।उन्होंने कायस्थ पूर्वजों में लाल बहादुर शास्त्री, डॉ0 राजेन्द्र प्रसाद, स्वामी विवेकानन्द, सुभाष चन्द्र बोस और जयप्रकाश नारायण की चर्चा करते हुए उनकी सेवा, लगन और साधनामय जीवन, उनकी विलक्षण व्यक्तित्व, नम्रता, सच्चाई, सरलता की गाथा को स्मरण करते हैं और हिंसा, बेईमानी, भ्रष्टाचार से पूर्वजों की तरह ही अपने को बच-बचाव करते हुए समाज की आर्थिक, सामाजिक और राजनीतिक व्यवस्था में पूर्ण भागीदारी हेतु जीकेसी की राजनीतिक ताकत को दिखाने के लिए देश की राजधानी नई दिल्ली स्थित ताल कटोरा स्टेडियम में 19 दिसम्बर 2021 को विश्व कायस्थ महासम्मेलन ‘‘उम्मीदों का कारवां’’ आयोजित किया है।राजीव रंजन प्रसाद का कहना है कि वर्तमान परिस्थिति में राजनीतिक गलियों में कायस्थों को अलग-थलग रखा जा रहा है। राजनीतिक पार्टियों की सोच ऐसी हो गई है कि यदि कायस्थ को पार्टी के नेतृत्व में भागीदारी न दिया जाय तो भी कायस्थ उनकी पार्टी के साथ है। परन्तु हमारी चित्रांश समाज पूर्व के कायस्थ नेताओं की तरह भागीदारी के साथ देश, राज्य और समाज की सेवा सत्य, निष्ठा और प्रेम के साथ करना चाहती है। इसलिए कायस्थ समाज की भागीदारी के लिए अपनी एकता का प्रदर्शन किया जाना जरूरी है।ग्लोबल कायस्थ कॉन्फ्रेन्स की स्थापना बिहार में की गयी है और इस संस्थान के जनक ग्लोबल अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद एवं प्रबन्ध न्यासी रागिनी रंजन है। दोनों ने अपनी प्रेरणा, लगन और कायस्थ समाज के उत्थान के लिए दृढ़ संकल्प को लेकर आगे बढ़े हैं। इनके विश्वास पर कायस्थ समाज खड़ा उतरने का प्रयास कर रही है और जिनलोगों ने जीकेसी से जुड़े हैं वे पूरे तनमन से इस छतरी के नीचे एकजुट रहने को दृढ़ संकल्पित हैं। देश के सभी राज्यों में यथा राजस्थान, बंगलुरू, महाराष्ट्र, कोलकाता में आयोजित ‘‘शंखनाद यात्रा’’ यह साबित किया है कि एक सूत्र में लोग बंध रहे हैं। ग्लोबल अध्यक्ष राजीव रंजन प्रसाद और प्रबन्ध न्यासी रागिनी रंजन के नेतृत्व में जीकेसी बहुत ही अल्प समय में विदेशों तक अपनी पहचान बना ली है। राजनीतिक गलियारों में भी जीकेसी की चर्चा हो रही है।जीकेसी अपनी चट्टानी एकता का प्रदर्शन करने के लिए नई दिल्ली में 19 दिसम्बर (रविवार) को विश्व कायस्थ महासम्मेलन का आयोजन किया है जिसमें, पूर्व केन्द्रीय मंत्री एंव सांसद रविशंकर प्रसाद, पूर्व केन्द्रीय मंत्री यशवंत सिन्हा, पूर्व केन्द्रीय मंत्री एवं प्रख्यात अभिनेता शत्रुध्न सिन्हा, उत्तर प्रदेश के पूर्व मंत्री सुनील शास्त्री, दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल, पूर्व सांसद संजय निरूपम, पूर्व सांसद पवन वर्मा, विधायक, अभय वर्मा, प्रख्यात राजनीतिज्ञ चक्रपाणि, प्रख्यात ज्योतिषाचार्य पवन सिन्हा, फिलम अभिनेता शेखर सुमन, हास्य कलाकार राजू श्रीवास्तव, पार्श्वगायिका प्रिया मल्लिक, शालिनी बैरागी, मणालिनी अखौरी, दीप श्रेष्ठ, समेत देश के प्रमुख राजनीतिज्ञों, मीडिया से जुड़े सम्पादकों, पत्रकारों, फिल्म जगत के कलाकारों, लोक गायकों, खिलाड़ियों, विभिन्न क्षेत्रों के बड़े औद्योगिक तथा व्यवसायिक संस्थानों के प्रमुखों ने शामिल होने की सहमति दी है।सम्पूर्ण भारत वर्ष के 5000 साल का इतिहास देखा जाय तो कायस्थ समाज की हर काल के शासन और प्रशासन में महत्वपूर्ण और विश्वसनीय भूमिका दिखायी देगी। कायस्थ समाज राष्ट्र की रक्षा में तलवार उठाने से भी पीछे नहीं रहा है। आज कायस्थ समाज अपने को उपेक्षित महसूस कर रहा है, इसलिए अपनी एकजुटता को प्रदर्शित करने के लिए विश्व कायस्थ महासम्मेलन का आयोजन किया गया है।विश्व कायस्थ महासम्मेलन में शामिल होने के लिए देश के सभी राज्यों से और विदेश से लोगों के आने की सिलसिला शुरू हो गयी है। विभिन्न जगहों से दिल्ली पहुंचने वाले कायस्थ समाज के लिए जीकेसी ने निःशुल्क ठहरने, खाने एवं गंतव्य स्थल तक आने जाने की व्यवस्था की है। सभी जगहों से लोग अपने-अपने जिलों के जिलाअध्यक्ष के साथ समूह बनाकर यात्रा प्रारम्भ कर दिया है।बिहार राज्य के प्रदेष अध्यक्ष नम्रता आनन्द का कहना है कि वे मीडिया के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष दीपक अभिषेक के नेतृत्व में लगभग 100 लोगों को साथ लेकर पटना से दिल्ली के लिए 17 दिसम्बर को प्रस्थान करूंगी।प्रदेश मीडिया सेल के महासचिव मुकेश कुमार सिन्हा उर्फ मुकेश महान का कहना है कि उनकी टोली भी 17 को ही दिल्ली प्रस्थान करेगी और वहां अन्य राज्यों से आने वाले लोगों की व्यवस्था में कहीं कोई त्रुटि न रहे इस कार्य में पूरी सहभागीता देंगे। मुकेश महान ने बताया कि बिहार के 38 जिलों से जिलाध्यक्षों के नेतृत्व में 13 दिसम्बर से ही अलग-अलग टोलियाँ दिल्ली के लिए प्रस्थान कर रही है और लोगों के ठहरने, खाने एवं आने जाने की सुविधाओं को एक कार्यकर्ता की तरह सहयोग करेंगे।महासम्मेलन में भाग लेने के लिए बिहार के पटना, औरंगाबाद, भागलपुर, भोजपुर,, पूर्वी चम्पारण, गोपालगंज, जमूई, जहानाबाद, कटिहार, मधुबनी, मुंगेर, मुजफ्फरपुर, पूर्णियाँ, समस्तीपुर, सारण और सीतामढ़ी से अपने-अपने जिलाध्यक्ष या सचिव के साथ 17 दिसम्बर को विभिन्न ट्रेनों से यात्रा प्रारम्भ करेगी। इसकी सम्पुष्टि बिहार प्रदेश अध्यक्ष नम्रता आनन्द ने की है।पटना से ट्रेन द्वारा यात्रा करने वालों का नेतृत्व राष्ट्रीय मीडिया उपाध्यक्ष दीपक अभिषेक, मीडिया अध्यक्ष प्रेम कुमार, प्रदेश अध्यक्ष डॉ नम्रता आनंद एवं प्रदेश सचिव आषुतोष ब्रजेश करेंगे। औरंगाबाद का नेतृत्व कमल किशोर, भागलपुर का चन्दन कुमार सहाय, भोजपुर का संजीव रंजन, पूर्वी चम्पारण का प्रिय रंजन, गोपालगंज का चेतन श्रीवास्तव, जमुई का विनोद सिन्हा, जहानाबाद का विंदु भूषण प्रसाद, कटिहार का जयंत मल्लिक, मधुबनी का डॉ हरेन्द्र दास, मुंगेर का अध्यक्ष रविशंकर सिन्हा, मुजफ्फरपुर का डॉ रवि शंकर चैनपुरी, पूर्णिया का अध्यक्ष सुषील सिन्हा, समस्तीपुर का अध्यक्ष मुकेश कुमार, सारण का विद्याभूषण श्रीवास्तव और सीतामढ़ी का प्रभात रंजन करेंगे।महासम्मेलन में बिहार के जीकेसी मीडिया कला संस्कृति प्रकोष्ठ के 500 से अधिक ख्यातिप्राप्त कलाकारों का भी जुटान होगा जो अपनी प्रस्तुतियों से लोगों का भरपूर मनोरंजन करने के साथ-साथ अपनी चट्टानी एकता का संदेश देंगे।