पटना: केंद्र सरकार को निशाने पर लेते हुए जदयू के राष्ट्रीय महासचिव व प्रवक्ता राजीव रंजन ने आज कहा है कि पूंजीपतियों व प्रचार के दम पर सत्ता में आयी मोदी सरकार झूठ, जुमलेबाजी व वादाखिलाफी की गारंटी बन कर रह गयी है. लगभग 10 वर्षों के इनके कार्यकाल में देश को नाकामी और बदहाली के सिवाए कुछ नहीं मिला. जनता से किया एक भी वादा इन्होने आज तक पूरा नहीं है. उन्होंने कहा कि मोदी सरकार ने 2022 तक किसानों की आमदनी दुगनी करने और सभी गरीबों को घर देने का वादा किया था. लेकिन किसानों को तो इन्होने ठेंगा दिखाया ही साथ ही बेघरों को भी बेवकूफ बना दिया. इनके वादे के उलट विगत 10 वर्षों में बेघर खुले में ही रह गये वहीं किसान और गरीब होते चले गये हैं. इसी तरह खुद प्रधानमन्त्री मोदी ने सबके खातों में 15-15 लाख रु भेजने का वादा किया था, जिसे बाद में खुद गृहमंत्री अमित शाह ने जुमला बता दिया था. इन्होने 2 करोड़ रोजगार हर वर्ष देकर देश से बेरोजगारी मिटाने और मंहगाई घटाने का वादा भी किया था. लेकिन इसके विपरीत इनके राज में बेरोजगारी और मंहगाई ने लोगों की कमर तोड़ कर रख दी है. जदयू महासचिव ने कहा कि मोदी सरकार ने आम जनता को अच्छे दिनों का वादा किया था, लेकिन गिरती अर्थव्यवस्था ने लोगों को बुरे दिन दिखा दिए हैं. इनके राज में में जहां पूंजीपति मालामाल होते गये हैं वहीं आम आदमी की आमदनी में जबर्दस्त गिरावट हुई है. इनके राज में आर्थिक असमानता इतनी बढ़ चुकी है कि एक रिपोर्ट के मुताबिक देश की 40% सम्पत्ति सिर्फ 1% लोगों के हाथों में जा चुकी है. वहीं देश की आधी यानी 50% आबादी के पास इंडिया की टोटल वेल्थ का सिर्फ 3% है. यानी मोदी राज में अमीर और अमीर होते जा रहे हैं और गरीब और गरीब.उन्होंने कहा जुमलेबाजी की इस सरकार ने लोगों से पेट्रोल-डीजल के दाम घटाने का भी वादा किया था, लेकिन इनके दाम 100 रु से ऊपर चले गये. यहां तक कि कच्चे तेलों के दाम में रिकॉर्ड गिरावट होने के बाद भी इन्होने उसका लाभ जनता को नहीं दिया. रसोई गैस की भी लगातार मूल्यवृद्धि की गयी, जिससे इनकी बहुप्रचारित उज्ज्वला योजना के लाभार्थी भी सिलिंडर लेना छोड़ने लगे हैं. हकीकत में भाजपा की डिक्शनरी में जनता का कल्याण है ही नहीं. इन्हें सिर्फ अपना और अपने पूंजीपति मित्रों के विकास से मतलब है.