पटना: जदयू के राष्ट्रीय प्रवक्ता राजीव रंजन ने आज कहा है कि पिछले छ: चरणों के चुनाव के बाद यह स्पष्ट हो गया है कि विकास और विनाश के बीच हो रहे इस चुनाव में विकास मीलों आगे चल रहा है. परिवार की जमींदारी बचाने के लिए सीना ठोक कर झूठ बोल रहे युवराजों की योजनाओं पर जनता ने पानी फेर दिया है. लोगों को बरगलाने की उनकी सारी कोशिशें व्यर्थ हो गयी हैं. इसी बौखलाहट में इनके नेताओं ने फिर से इवीएम का राग अलापना शुरू कर दिया है. यहां तक कि उन्होंने निष्पक्ष रहने वाले राजभवन पर भी उंगली उठा दी है. यह दिखाता है कि इनका मनोबल पूरी तरह से टूट चुका है और अब यह केवल राजनीतिक रस्म अदायगी कर रहे हैं. उन्होंने कहा कि इस पूरे चुनाव में राजद-कांग्रेस के युवराजों ने झूठ बोल-बोल कर अपने पैरों पर खुद से कुल्हाड़ी मार ली है. इनके सफेद झूठ ने लोगों के मन में एनडीए सरकार के प्रति विश्वास को और पक्का कर दिया है. इसके अतिरिक्त नीतीश सरकार के कामों का श्रेय लेने के इनके प्रयासों ने यह साफ़ कर दिया है कि इनके पास अपना कुछ बताने के लिए है ही नहीं. साथ ही मामले का खुलासा होने के बाद भी तेजस्वी के गरीबों की हड़पी जमीनें नहीं लौटाने से लोग समझ गये हैं कि इनके भ्रष्टाचारी मन में कोई बदलाव नहीं आया है. लोग जान गये हैं कि अगर गलती से भी इन्हें सत्ता मिल गयी तो यह देश का ऐसा भट्ठा बैठाएंगे कि देश दशकों पीछे चला जाएगा. जदयू प्रवक्ता ने कहा कि वास्तव में जनता भूली नहीं है कि कैसे कांग्रेस-राजद ने जनता को ‘गरीबी हटाओ’ और सामाजिक न्याय के नाम पर दशकों तक मुर्ख बनाये रखा. इनके झांसे में पड़कर जनता का हाल जस का तस रह गया वहीं राजद-कांग्रेस के नेता और उनके बाल-बच्चे अरबपति बन गये. कांग्रेस ने अपने पिछले 10 वर्षों के राज में जहां 12.5 लाख करोड़ के घोटालों का विश्व रिकॉर्ड बना दिया वहीं राजद के राज में पशुओं के चारे से लेकर अलकतरा तक घोटाले का शिकार हो गया. यही वजह है कि आज कोई ‘हाथ’’लालटेन’ थामने को तैयार नहीं है. उन्होंने कहा कि राजद-कांग्रेस ने अपने स्वार्थ में जिस जनता से महरूम रखा था आज नमो-नीतीश राज में वह विकास का स्वाद चख चुकी है. लोग जान चुके हैं कि एनडीए के शासन में जनता को सुरक्षा मिलती है तो राजद-कांग्रेस राज में अपराधियों और घोटालेबाजों को अभी प्रदान किया जाता है. लोग समझ चुके हैं राजद-कांग्रेस के कारण ही शिक्षा, स्वास्थ्य जैसी सुविधाएं तो दूर सड़क, बिजली, पानी तक के लिए तरसना पड़ता था. एनडीए राज में यह सभी सुविधायें मिलने के बाद लोग समझ चुके हैं कि एनडीए का मतलब विकास है तो राजद-कांग्रेस विनाश के प्रतीक हैं.