नरेंद्र मोदी सरकार ने कश्मीर को लेकर ऐतिहासिक फैसला लिया है। सरकार ने आज राज्यसभा में कश्मीर आरक्षण संशोधन बिल पेश कर दिया है। जिसके तहत धारा 370 का खात्मा किया जाएगा। वहीं विपक्ष सरकार को घेरने के लिए तैया हैं। बिल के पेश होने के बाद से ही विपक्षी नेता सदन में हंगामा कर रहे हैं। जिसके बाज सदन को थोड़ी देर के लिए स्थगित करना पड़ा।
जम्मू-कश्मीर मुद्दे पर सरकार के फैसला लेने की अटकलों के बीच प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में सोमवार को केन्द्रीय कैबिनेट की बैठक हुई। इसके बाद राज्यसभा में सुबह 11 बजे गृह मंत्री अमित शाह बयान दे रहे हैं। शाह दोपहर को लोकसभा में भी बयान देंगे। भाषा के अनुसार, अधिकारियों ने बताया कि प्रधानमंत्री के आवास पर सबसे पहले पहुंचने वालों में केन्द्रीय गृह मंत्री अमित शाह और विधि मंत्री रविशंकर प्रसाद शामिल रहे। वहीं, कश्मीर के ताजा हालातों पर पीडीपी के सांसदों ने संसद परिसर में विरोध प्रदर्शन किया। इसके अलावा राज्यसभा सांसद और कांग्रेस नेता गुलाम नबी आजाद ने कश्मीर के मुद्दे पर कहा कि पूर्व मुख्यमंत्रियों को अब नजरबंद किया जा रहा है। ये हिंदुस्तान की लड़ाई लड़ रहे हैं और उन्हें ही बंद किया जा रहा है। यह लोकतंत्र की हत्या है। जम्मू कश्मीर में पर्यटन को खत्म किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि हम इस मुद्दे को संसद में उठाएंगे।
इसके अतिरिक्त केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह सोमवार को राज्यसभा में जम्मू-कश्मीर आरक्षण (द्वितीय संशोधन) बिल 2019 पेश करेंगे। इसके जरिए जम्मू-कश्मीर में आर्थिक रूप से कमजोर सामान्य वर्ग के लोगों को 10 प्रतिशत आरक्षण दिया जाएगा। इसे मंत्रिमंडल की मंजूरी मिल चुकी है। पिछले दिनों भारी हंगामे के बीच लोकसभा में जम्मू-कश्मीर आरक्षण (संशोधन) बिल पास हो गया। इसके साथ ही राज्य में राष्ट्रपति शासन का समय 6 महीने के लिए बढ़ा दिया गया है। पहले राष्ट्रपति शासन का समय 3 जुलाई को समाप्त होने वाला था। 17वीं लोकसभा का पहला सत्र 17 जून को शुरू हुआ और इसका समापन 26 जुलाई को निर्धारित था। लेकिन संसदीय कार्यमंत्री प्रह्लाद जोशी ने 23 जुलाई को संसद के मौजूदा सत्र को 10 दिन बढ़ाने का ऐलान किया। अब यह 9 अगस्त को समाप्त होगा।
संजय कुमार दिल्ली