मुज़फ़्फ़रपुर में पत्रकार को पुलिस ने जमकर किया पिटाई। परिचय देने के बाद भी पुलिस ने एक भी नही सुनी और आई कार्ड दिखने पर भी पुलिस पिटती रही।गंभीर हालत में पत्रकार इलाज के लिये सदर अस्पताल में लाया गया। वरीय पत्रकार अमरेंद्र तिवारी ने कहा कि पत्रकार लोकतंत्र के चौथे स्तंभ होते हैं इनके साथ मारपीट की घटना की जितनी निंदा की जाए कम है।
इस बीच पीडित से मिलने पहूँचे टाऊन डीएसपी
पुलिस की पिटाई से घायल पत्रकार खालिद ने बताया कि वह दूरदर्शन का अंशकालिक पत्रकार हैं। पत्रकार मो.खालिद को देखने के बाद टाउन डीएसपी ने कहा कि मामला गंभीर है और इस मामले पर कारवाई की जाएगी। बीएमपी कटिहार जिला पुलिस बल का जवान है जिसका नाम प्रमोद और ब्रजेश है जिसे तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया गया है।इस घटना के बाद जिले के पत्रकारों में पुलिस के खिलाफ काफी आक्रोश देखने को मिल रहा है । इस घटना को लेकर पत्रकारों ने निंदा की है। पत्रकारों के संगठन मीडिया फ़ॉर बॉर्डर हार्मोनी के जिलाध्यक्ष रंजन कुमार, उपाध्यक्ष पंकज राकेश, कौशलेंद्र झा राकेश कुमार, रोहित रंजन, चन्दन कुमार, वरुण कुमार, टीएन सिंह, शशिभूषण सिंह, शिवेंद्र सिंह, जयकांत त्रिपाठी, मनोज कुमार, विनोद पासवान, अखिलेश कुमार, रामनाथ प्रसाद, मुन्ना कुमार, मोहन कुमार सुधांशु, अरुण कुमार सिंह आदि ने इस घटना की कड़ी निंदा की है। पत्रकारों ने कहा कि कोरोना कि इस महामारी के बीच पत्रकार अपनी जान पर हाथ लेकर रिपोर्टिंग कर रहे हैं । समाज व प्रशासन की मदद कर रहे हैं। इस बीच उनके साथ इस तरह का व्यवहार बहुत ही निंदनीय है। त्वरित कार्रवाई के लिए पत्रकारों ने वरीय पुलिस अधिकारियों को धन्यवाद दिया। इसके साथ ही आगाह किया कि इस तरह की घटना की पुनरावृत्ति ना हो यह व्यवस्था भी सुनिश्चित होनी चाहिए।
सतीश मिश्रा,