कौशलेन्द्र पाराशर की रिपोर्ट/ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी का अपने देशवासियों को संबोधित करते हुये कहा की कोरोना के खिलाफ देश आज फिर बहुत बड़ी लड़ाई लड़ रहा है।कुछ सप्ताह पहले तक स्थितियां संभली हुई थीं और फिर ये कोरोना की दूसरी वेव तूफान बनकर आ गई।जो पीड़ा आपने सही है, जो पीड़ा आप सह रहे हैं, उसका मुझे ऐहसास है।जिन लोगों ने बीते दिनो में अपनो को खोया है, मैं सभी देशवासियों की तरफ़ से उनके प्रति संवेदनाएं व्यक्त करता हूँ।परिवार के एक सदस्य के रूप में, मैं आपके दुःख में शामिल हूं।चुनौती बड़ी है लेकिन हमें मिलकर अपने संकल्प, हौसले और तैयारी के साथ इसको पार करना है।इस बार कोरोना संकट में देश के अनेक हिस्से में ऑक्सीजन की डिमांड बहुत ज्यादा बढ़ी है।इस विषय पर तेजी से और पूरी संवेदनशीलता के साथ काम किया जा रहा है।केंद्र सरकार, राज्य सरकारें, प्राइवेट सेक्टर, सभी की पूरी कोशिश है कि हर जरूरतमंद को ऑक्सीजन मिले।ऑक्सीजन प्रॉडक्शन और सप्लाई को बढ़ाने के लिए भी कई स्तरों पर उपाय किए जा रहे हैं।राज्यों में नए ऑक्सीजन प्लांट्स हों, एक लाख नए सिलेंडर पहुंचाने हों, औद्योगिक इकाइयों में इस्तेमाल हो रही ऑक्सीजन का मेडिकल इस्तेमाल हो, ऑक्सीजन रेल हो, हर प्रयास किया जा रहा है।हमारे वैज्ञानिकों ने दिन-रात एक करके बहुत कम समय में देशवासियों के लिए विकसित की हैं।आज दुनिया की सबसे सस्ती वैक्सीन भारत में है।भारत की कोल्ड चेन व्यवस्था के अनुकूल वैक्सीन हमारे पास है।यह एक टीम एफर्ट है जिसके कारण हमारा भारत, दो मेड इन इंडिया वैक्सीनस के साथ दुनिया का सबसे बड़ा टीकाकरण अभियान शुरू कर पाया।टीकाकरण के पहले चरण से ही गति के साथ ही इस बात पर जोर दिया गया कि ज्यादा से ज्यादा क्षेत्रों तक, जरूरतमंद लोगों तक वैक्सीन पहुंचे।दुनिया में सबसे तेजी से भारत में पहले 10 करोड़, फिर 11 करोड़ और अब 12 करोड़ वैक्सीन के डोज़स दिए गए हैं।कल ही वैक्सीनेशन को लेकर एक और अहम फैसला लिया गया है।एक मई के बाद से, 18 वर्ष के ऊपर के किसी भी व्यक्ति को वैक्सीनेट किया जा सकेगा।अब भारत में जो वैक्सीन बनेगी, उसका आधा हिस्सा सीधे राज्यों और अस्पतालों को भी मिलेगा।हम सभी का प्रयास, जीवन बचाने के लिए तो है ही, प्रयास ये भी है कि आर्थिक गतिविधियां और आजीविका, कम से कम प्रभावित हों।वैक्सीनेशन को 18 वर्ष की आयु के ऊपर के लोगों के लिए कर ने से शहरों में जो हमारी वर्कफोर्स है, उसे तेजी से वैक्सीन उपलब्ध होगी।मेरा राज्य प्रशासन से आग्रह है कि वो श्रमिकों का भरोसा जगाए रखें, उनसे आग्रह करें कि वो जहां हैं, वहीं रहें।राज्यों द्वारा दिया गया ये भरोसा उनकी बहुत मदद करेगा कि वो जिस शहर में हैं वहीं पर अगले कुछ दिनों में वैक्सीन भी लगेगी और उनका काम भी बंद नहीं होगा।मेरा युवा साथियों से अनुरोध है की वो अपनी सोसायटी में, मौहल्ले में, अपार्टमेंट्स में छोटी छोटी कमेटियाँ बनाकर कोविड अनुशासन का पालन करवाने में मदद करे।हम ऐसा करेंगे तो सरकारों को न कंटेनमेंट ज़ोन बनाने की ज़रुरत पड़ेगी, न कर्फ़्यू लगाने की, न लॉकडाउन लगाने की।अपने बाल मित्रों से एक बात विशेष तौर पर कहना चाहता हूं।मेरे बाल मित्र, घर में ऐसा माहौल बनाएं कि बिना काम, बिना कारण घर के लोग, घर से बाहर न निकलें।आपकी जिद बहुत बड़ा परिणाम ला सकती है। गरीबों को मदद करनेेेेेेे में देशवासी आगे आये.