पटना, १७ मई। अखिल भारतीय सर्वभाषा संस्कृति समन्वय समिति के तत्त्वावधान में रविवार की संध्या, दिवंगत कवि, सुप्रसिद्ध बाँसुरीवादक और संचारकर्मी पुरुषोत्तम नारायण सिंह की स्मृति में ऑनलाइन स्मृति सभा आयोजित की गई, जिसमें देश भर से जुड़े अनेक साहित्यकारों,कवियों और कवयित्रियों ने उनके साथ अपने जीवंत स्मृतियों के हवाले से उन्हें स्मरण किया और विनम्र श्रद्धांजलि अर्पित की।
समिति के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रज्ञान पूरुष पं सुरेश नीरव की अध्यक्षता में आयोजित इस स्मृति सभा में मास्को (रूस) से हिन्दी की वरिष्ठ कवयित्री डा श्वेता सिंह उमा भी जुड़ी हुई थी। उमा जी ने कहा कि पुरुषोत्तम जी एक अत्यंत आत्मीय व्यक्तित्व के स्वामी और काव्य-साहित्य के विद्वान समीक्षक थे।स्मृति-सभा में विशेष रूप से आमंत्रित साहित्यकार और बिहार हिन्दी साहित्य सम्मेलन के अध्यक्ष डा अनिल सुलभ ने कहा कि पुरुषोत्तम जी एक विनम्र और प्रेमी व्यक्ति थे। उनकी साहित्यिक प्रतिभा से संसार अभी तक अवगत नहीं हुआ था। उन्हें जब पढ़ा जाएगा, तब ठीक से समझा जाएगा। लोग जब उन्हें जान लेंगे तब अपने हृदय से कभी जाने न देंगे। उनके निधन से साहित्य और संस्कृति जगत को भारी हानि पहुँची है। वे अब कभी कवि-सम्मेलनों में नहीं दिखेंगे, पर हमारे हृदयों से वे कभी नहीं जाएँगे। वे अपनी कृतियों में सदैव जीवित रहेंगे।स्मृति-सभा के अध्यक्ष और संचालक पं सुरेश नीरव ने विगत ३५ वर्षों के अपने संबंधों से चुनी हुई स्मृतियों को रखते हुए कहा कि पुरुषोत्तम जी का साहित्यिक और सांस्कृतिक पक्षों से भी बड़ा उनका मानवीय पक्ष था। उनके समान जीवंत व्यक्ति बहुत थोड़े होते हैं।वरिष्ठ पत्रकार और श्री सिंह के घनिष्ठ मित्र ओमकारेश्वर पाण्डेय ने अश्रुपूर्ण नेत्रों और अवरुद्ध-कंठों से उनके जीवन के अंतिम क्षणों को स्मरण किया तथा भावपूर्ण श्रद्धांजलि अर्पित की। सुलभ साहित्य अकादमी के उपाध्यक्ष तथा बनारस हिंदू विश्वविद्यालय में प्राध्यापक डा अशोक कुमार ज्योति, कोलकाता के वरिष्ठ साहित्यकार सुरेश चौधरी, मुंबई से जुड़े गायक संगीतकार सुधाकर स्नेह, दिल्ली की प्रतिष्ठित कवयित्री दमयंती शर्मा, गाजियावाद से जुड़ी कवयित्री मधु चतुर्वेदी समेत अनेक प्रबुद्धजनों ने अपने शोकोदगार व्यक्त किए। सभा के अंत में दो मिनट का मौन रखकर दिवंगत आत्मा की शांति हेतु ईश्वर से प्रार्थना की गई। आरंभ में स्वर्गीय सिंह के जीवन पर बनाए गए स्मृति-चलचित्र का प्रदर्शन किया गया।
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