आईएम्ए हॉल पटना,
एक सितंबर से देश भर में संशोधित मोटर व्हीकल एक्ट (MV Act) लागू कर दिया गया है। केंद्र सरकार द्वारा तैयार संशोधित मोटर व्हीकल एक्ट में भारी जुर्माने का प्रावधान किया गया है। पहले के मुकाबले, संशोधित मोटर व्हीकल एक्ट में कई गुना ज्यादा जुर्माने का प्रावधान किया गया है। केंद्र सरकार ने राज्यों को छूट दे रखी है कि वह संशोधित मोटर व्हीकल एक्ट को लागू करने करने या न करने अथवा इसमें
जुर्माने के प्रावधानों पर फैसला ले सकते हैं।इसके बाद तीन राज्यों ने एक सितंबर से देश भर में लागू हुए संशोधित मोटर व्हीकल एक्ट को अपने यहां लागू करने से इंकार कर दिया है। इनमें से एक भाजपा शासित और दो अन्य गैर भाजपा शासित राज्य है। नया मोटर व्हीकल एक्ट लागू न करने के पीछे इन राज्यों के अपने तर्क है। इसका मतलब ये है कि इन चार राज्यों के वाहन चालकों को यातायात नियमों का उल्लंघन करने पर अब भी पुराना जुर्माना ही देना होगा।जुर्माने की राशि इतनी होनी चाहिए कि लोग उसे भर सकें।वही अब इसकी मांग बिहार मे भी देखनो को मिल रहा है ,बिहार मे लोगो का आक्रोश जाहिर होता देखने को मिल रहा है ।लोगो का कहना बिहार की सडको की हालत खराब है और सरकार टैक्स लेने मे पहल है ।जो राष्ट्रिय राज्यंमार्ग है उसको नोइट्री से मुक्त किया जाये ।ट्रको से अवैध वसूली बन्द किया जाये,ट्रक मलिक का शोषण हो रहा है इसको बन्द किया जा संबंधित अधिकारी पर करवाई की जाये।
भारी जुर्माना लागू होने के बाद अगर पुलिस वाला किसी कार या बाइक चालक को रोकेगा तो उसे लगेगा 2000 रुपये का चालान हो जाएगा। इतने भारी जुर्माने से बचने के लिए वह गाड़ी को तेजी से भगाएगा, ताकि किसी भी तरह पुलिस वाले से बच सके। ऐसे में दुर्घटनाएं कम होने की जगह और बढ़ेंगी। इससे दुर्घटनाएं रोकने का मकसद पूरा नहीं होगा।
संजय कुमार