उमर फारुख की रिपोर्ट /हर दिन कोरोना संक्रमण के नए मामले रिकॉर्ड तोड़ रहे हैं. कोरोना की इस जंग में वैक्सीन को एक बड़ा हथियार माना जा रहा है. सरकार ने भी 18 साल से अधिक उम्र के लोगों को वैक्सीन लगवाने की अपील की है, लेकिन वैक्सीन के दाम को लेकर अभी भी हंगामा मचा हुआ है. बता दें कि प्राइवेट सेक्टर को 250 रुपये में दी जाने वाली वैक्सीन की कीमत छह गुना तक बढ़ गई है. भारत में सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने कोविशील्ड वैक्सीन की कीमत 700 से 900 रुपये जबकि भारत बायोटेक द्वारा निर्मित कोवैक्सिन की कीमत 1250 से 1500 तक पहुंच चुकी है. वेबसाइट से पता चलता है कि अभी निजी क्षेत्र के थोक टीकाकरण के चार बड़े कॉर्पोरेट अस्पताल ही सामने आए हैं, जिसमें अपोलो, मैक्स, फोर्टिस और मणिपाल हैं. दुनिया के ज्यादातर देशों में कोरोना वैक्सीन के दाम को लेकर एकरूपता नहीं है, भारत भी उन्हीं देशों में से एक है. बता दें कि कोरोना के बढ़ते मामलों के बाद भी देश का बड़ा हिस्सा कोविड टीकाकरण के लिए अपनी जेब से भुगतान नहीं करना चाहता है. इसका सबसे बड़ा कारण है भारत में प्राइवेट सेक्टर में बढ़ रही वैक्सीन की कीमत. भारत में कोविशिल्ड का एक शॉट पाने के लिए लगभग $12 और कोवाक्सिन के लिए $ 17 देना पड़ रहा है.भारत में जब वैक्सीन की शुरुआत हुई थी, उस वक्त केंद्र दो डोज के लिए 150 रुपये का ही भुगतान कर रहा था और राज्य सरकारों तथा निजी अस्पतालों को आपूर्ति कर रहा था. यही नहीं प्राइवेट अस्पताल में टीकाकरण के लिए प्रति खुराक 100 रुपये लेने की अनुमति दी गई थी. इस पर निजी अस्पतालों ने सहमति भी दे दी थी. हालांकि, कई अस्पताल प्रभावी रूप से टीकाकरण शुल्क के रूप में कोविशिल्ड के 250-300 रुपये प्रति डोज चार्ज कर रहे हैं.मैक्स अस्पताल के एक प्रवक्ता ने बताया कि अभी तक कोविशील्ड की कीमत 660-670 रुपये थी, जिसमें GST और अन्य खर्चे शामिल थे. उन्होंने कहा कि जब वैक्सीन मंगाई जाती है तो उसमें 5 से 6 प्रतिशत तक खराब हो जाती है, ऐसे में उसकी कीमत 710 से 715 तक हो जाती है. इसके साथ ही जो कर्मचारी वैक्सीन लगाते हैं उनके लिए पीपी किट, सैनेटाइजर, बायोमेडिकल की व्यवस्था करनी पड़ती है, जिसके लिए 170 से 180 रुपये तक का खर्च आता है. ऐसे में एक वैक्सीन की लागत 900 रुपये तक हो जाती है.उन्होंने कहा कि अभी तक यह यह स्पष्ट नहीं है कि अस्पतालों को वैक्सीन कितने रुपये में दी जाएगी. भारत बायोटेक ने कोवैक्सिन की 1,200 रुपये प्रति डोज की कीमत तय की थी, जबकि सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने 600 रुपये प्रति खुराक की घोषणा की थी, लेकिन दोनों ही कंपनियां अब दो गुने दाम पर राज्यों को वैक्सीन उपलब्ध करा रही हैं.