AIIMSमें इलाज के दौरान कोरोना से राज्य के दो डॉक्टरों की मौत हो गई. एम्स के नोडल पदाधिकारी डॉ संजीव कुमार के अनुसार पीएमसीएच के रेडियोथेरेपी विभाग के पूर्व अध्यक्ष डॉ. मिथिलेश कुमार सिंह और अरवल में तैनात और सुपौल निवासी हड्डी रोग विशेषज्ञ डॉ. महेंद्र चौधरी की मौत इलाज के दौरान हुई थी. डॉ. मिथिलेश शुक्रवार को ही दिन में ही एम्स में भर्ती कराए गए थे जबकि डॉ. महेंद्र पिछले सात दिनों से भर्ती थे. वहीं मसौढ़ी के डॉ. अवधेश कुमार सिंह की मौत भी इलाज के दौरान किसी निजी नर्सिंग होम में हुई. हालांकि उनकी कोरोना जांच नहीं हो पाई थी. हालांकि 5 डॉक्टर ने कोरोना पर विजय भी प्राप्त की है.मूल रूप से सुपौल के रहनेवाले डर 66 वर्षीय डॉ महेंद्र चौधरी अरवल जिला में मेडिकल ऑफिसर में कार्यरत थे और ओर्थोपेडिक के अच्छे सर्जन थे. वहीं पटना के कदमकुआं, राजेंद्र नगर के रहनेवाले पीएमसीएच में रेडियोथेरेपी विभाग के पूर्व विभागाध्यक्ष 70 वर्षीय डॉ मिथलेश कुमार की भी कोरोना से पटना एम्स में इलाज के दौरान मौत हो गई. जबकि शुक्रवार को ही पटना एम्स से पांच डॉक्टर कोरोना संक्रमण पर विजय प्राप्त कर डिस्चार्ज भी किए गए.डिस्चार्ज किए गए डॉक्टरों में आलमगंज के डॉ एमडी आलम, सीतामढ़ी के डॉ सुनील कुमार सिंह, रामगढ़ चंपारण के डॉ अतुल राय, बोरिंग रोड कृष्णापुरी के डॉ सिवेंद्र कुमार सिंह और दरभंगा के डॉ डी एन महतो शामिल हैं. एक दिन में दो बड़े डॉक्टर का कोरोना संक्रमण के इलाज के दौरान मौत होने से एम्स के डॉक्टरों ने अफसोस जाहिर किया है.बता दें कि पटना एम्स में दो डॉक्टर समेत 13 कोरोना संक्रमण के मरीजों ने दम तोड़ा. जबकि चार डॉक्टर को लेकर तेईस लोगो ने कोरोना को मात दिया और अपने घर लौटे है. जबकि 25 कोरोना संदिग्ध को एडमिट किया गया है और 25 पोजिटिव मरीज पाए गए हैं जिनका इलाज किया जा रहा है.वहीं बिहटा के एक युवक ने कोरोना के इलाज के दौरान पटना एम्स की छत से छलांग लगाकर आत्महत्या कर ली. पटना एम्स की यह दूसरी मौत है. मिली जानकारी के अनुसार कोरोना पॉजिटिव बिहटा के मोहमदपुर के रहने वाले राजेश कुमार के पुत्र रोहित कुमार ने डिप्रेशन में आकर एम्स के चौथे तल्ला से कूदकर आत्महत्या कर ली.