नेता प्रतिपक्ष तेजस्वी यादव के नेतृत्व को ना सिर्फ महागठबंधन के घटक दल बल्कि इनके दल के नेतागण भी नकार रहे हैं तथा बिहार की जनता ने तो इन्हें शुन्य पर लाकर इनके नेतृत्व को सिरे से खारिज कर दिया है। फिर भी जबरन तेजस्वी यादव स्वयं अपने सर पर सत्ता का मुकुट का हसीन सपना देख रहे हैं। राजनीतिक जबरदस्ती करना तेजस्वी यादव को अपने परिवार से विरासत में मिली है जिन्हें शायद यह पता ही नहीं है यहां लोकतंत्र है राजतंत्र नहीं। तेजस्वी यादव झूठ, फरेब तथा प्रपंच करके बिहार की जनता को दिग्भ्रमित करने, झांसा एवं अपने राजनीतिक ड्रामेबाजी कर बिहार के विकास की गति को अवरुद्ध करने की कोशिश कर रहे हैं । इनका प्रयास कभी सफल नहीं होगा क्योंकि आज का बिहार माननीय मुख्यमंत्री श्री नीतीश कुमार जी के नेतृत्व में जंगलराज से निकलकर विकास की ओर निरंतर अग्रसर है। बिहार की जनता आगामी चुनाव में भ्रष्टाचार, लूट, अपहरण, कुशासन, तथाा गुंडागर्दी का प्रतीक राष्ट्रीय जनता दल को सबक सिखाएगी।
कौशलेन्द्र पाण्डेय, विशेष संवाददाता.